मध्य प्रदेश का हरदा जिला सुबह पटाखा फैक्ट्ररी में हुए धमाके से दहल गया। हरदा में पटाखा फैक्ट्ररी में हुए अचानक विस्फोट के बाद अफरा-तफरी का माहौल बन गया। इस हादसे से लोगों से 9 साल पुरानी पेटलावद हादसे की याद आ गई। उस दौरान पटाखा फैक्ट्री में विस्फो होने से 79 लोगों की जान चली गई थी और सैकड़ों लोग गंभीर रूप से घायल हो गए थे।
हरदा। मध्य प्रदेश के हरदा जिले के मगरधा रोड स्थित एक पटाखा फैक्ट्री में हुए विस्फोट के बाद भीषण आग लग गई। दरअसल, इसमें एक के बाद एक हुए बम धमाकों से पूरा इलाका दहल गया है। बताया जा रहा है कि फैक्ट्री में पटाखों के लिए बारूद रखा था, जिसके कारण आग फैलती गई और कुछ ही देर में आग ने विकराल रूप ले लिया।
विस्फोट इतना भयंकर था कि इसकी आवाज दूर-दूर तक सुनाई दी। इस हादसे में कई लोगों को गंभीर चोटें आई हैं, जिन्हें इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कर दिया गया है। हालांकि आग लगने का कारण फिलहाल अज्ञात है।
9 साल पुरानी यादें हुआ ताजा
हरदा में हुए विस्फोट ने 9 साल पहले झाबुआ के पेटलावद में हुए पटाखा विस्फोट की याद को ताजा कर दिया है। उस दौरान हादसे में लगभग 79 लोगों को अपनी जान गंवाना पड़ी थी और 150 से अधिक लोग गंभीर रूप से घायल हुए थे।
क्या हुआ था पेटलावद में?
12 दिसंबर, 2015 की सुबह अचानक एक पटाखा फैक्ट्री में विस्फोट हो गया। इस विस्फोट में 79 लोगों की मौत हो गई, जबकि 150 से अधिक लोग गंभीर रूप से घायल हो गए थे। जांच के बाद पता चला था कि यह विस्फोट मकान में अवैध रूप से रखी जिलेटिन राड़े और डेटोनेटर के कारण हुआ था। उस दौरान इस हादसे से चारों ओर लाशों का ढेर लग गया था। इसके लिए पेटलावद निवासी राजेंद्र कांसवा को मुख्य आरोपी पाया गया था, जिसकी विस्फोट में ही मौत हो गई थी।
मुख्यमंत्री को विरोध का करना पड़ा था सामना
इस विस्फोट से राजनीति भी गरमा गई थी। इसकी गूंज देश-विदेश तक पहुंच गई थी, जिसके कारण तत्कालिन प्रशासन और मुख्यमंत्री को जनता के विरोध के कारण 3 दिन तक पेटलावद क्षेत्र में रुकना पड़ा था।
50 घरों में लगी आग
वहीं अब हरदा में इस तरह का हादसा देखने को मिला है। मिली जानकारी के मुताबिक, इस हादसे से आसपास के 50 से ज्यादा घरों में आग लगी है। इसकी वजह से क्षेत्र में अफरा-तफरी और चारों ओर चीख-पुकार सुनाई दे रही है। घटना के बाद बैतूल जिले से चार दमकल वाहन मौके पर रवाना किए गए हैं। बैतूल नगर पालिका के दो, सारनी नगर पालिका का एक और चिचोली नगर परिषद का एक दमकल वाहन भेजा गया है।
डॉक्टरों की लगाई गई इमरजेंसी ड्यूटी
हादसा इतना भयंकर है कि भोपाल के जेपी अस्पताल में 6 पलंग का वार्ड तैयार किया गया। सभी डॉक्टरों को इमरजेंसी ड्यूटी पर बुलाया गया है। वहीं, घटनास्थल पर भोपाल, इंदौर, रायसेन और सीहोर समेत कई जिलों से कुल 144 एंबुलेंस पहुंची है, जो लगातार घायलों को लेकर अस्पताल पहुंच रही है।
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CREDIT: - DAINIK JAGRAN